Indore Transgender Dispute

Indore Transgender Dispute

इंदौर किन्नर विवाद: गद्दी-संपत्ति को लेकर दो गुटों में दरार, पहले भी दर्ज हुआ था दुष्कर्म-धमकी का केस

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Indore Transgender Dispute: इंदौर में किन्नर समाज के दो गुटों के बीच चल रहा विवाद अब एक बड़े और संवेदनशील घटनाक्रम में बदल गया है।

बुधवार शाम नंदलालपुरा इलाके में 24 किन्नरों ने एक साथ जहर पी लिया, जिसके बाद पूरे शहर में हड़कंप मच गया।

सभी को एमवाय अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां फिलहाल उनकी हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है।

इस घटना के बाद शहर की पुलिस-प्रशासन से लेकर राजनीतिक हलकों में हलचल मच गई है।

विवाद की जड़: गुरु-चेले के बीच तनाव

जानकारी के अनुसार, यह विवाद लंबे समय से दो गुटों — एक ओर सपना गुरु और उनके सहयोगियों का गुट, और दूसरी ओर सोना मंगला गोरी व नंदगिरी महामंडलेश्वर का गुट — के बीच चल रहा था।

पीड़ित पक्ष का आरोप है कि सपना गुरु, उनके साथी राजा हाशमी, मीडिया से जुड़े अक्षय कुमायू और पंकज जैन, पिछले कई महीनों से उनके चेलों को मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रहे थे।

मामला तब बढ़ गया जब पीड़ित किन्नरों ने सम्मेलन में जमा की गई धरोहर राशि लौटाने की मांग की।

आरोप है कि इस पर सपना और राजा ने न केवल पैसे लौटाने से मना किया बल्कि उन्हें धमकी दी कि यदि दोबारा मांग की तो पुलिस में झूठा केस दर्ज करा देंगे

लगातार दबाव और डर से परेशान होकर बुधवार शाम 24 किन्नरों ने फिनायल पीकर आत्महत्या का प्रयास किया।

इसके बाद जवाहर मार्ग और एमवाय अस्पताल परिसर में हंगामा मच गया।

मौके पर पहुंची पुलिस ने सभी को अस्पताल पहुंचाया और देर रात तक हालात सामान्य करने की कोशिश की।

एमवाय अस्पताल में हंगामा और आत्मदाह की कोशिश

एमवाय अस्पताल में भर्ती पीड़ितों की हालत जैसे ही स्थिर हुई, बाहर एक और तनावपूर्ण स्थिति बन गई।

चार किन्नरों ने अस्पताल के बाहर पेट्रोल डालकर आत्मदाह की कोशिश की।

पुलिस ने तुरंत हस्तक्षेप करते हुए बोतलें छीन लीं और स्थिति को काबू में किया।

अब अस्पताल परिसर में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है।

एमजीएम मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. अरविंद घनघोरिया ने खुद पहुंचकर सभी मरीजों की स्थिति की जानकारी ली।

पुलिस कार्रवाई: सपना गुरु हिरासत में, बाकी फरार

घटना के बाद हीरानगर पुलिस ने बुधवार को सपना गुरु के एमआर 10 स्थित घर दो बार पहुंची।

पहले दौर में पूछताछ के बाद पुलिस लौटी, लेकिन रात में एफआईआर दर्ज होते ही सपना को हिरासत में लेकर महिला थाने भेजा गया।

अन्य आरोपी — राजा हाशमी, अक्षय कुमायू और पंकज जैन — फिलहाल फरार हैं। पुलिस टीम उनकी तलाश में छापेमारी कर रही है।

क्राइम ब्रांच के एडिशनल डीसीपी राजेश दंडोतिया ने बताया कि शिकायतकर्ताओं सोना मंगला गोरी और नंदगिरी महामंडलेश्वर की रिपोर्ट पर चारों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है।

उन्होंने बताया कि आरोपियों द्वारा लगातार मानसिक प्रताड़ना और धमकाने के सबूत मिले हैं, जिन्हें जांच में शामिल किया जा रहा है।

राजनीतिक हस्तक्षेप और निष्पक्ष जांच की मांग

गुरुवार को विधायक गोलू शुक्ला, रमेश मेंदोला और नगर अध्यक्ष सुमित मिश्रा पुलिस कमिश्नर संतोष सिंह से मिले। उन्होंने पूरे मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की।

कमिश्नर संतोष सिंह ने जनप्रतिनिधियों को आश्वासन दिया कि सभी पक्षों की बात सुनी जाएगी और जांच निष्पक्ष होगी।

इस दौरान सपना गुरु के समर्थकों ने कमिश्नर कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया और कहा कि सपना दीदी पर लगे आरोप झूठे हैं, वह समाज की मदद करने वाली महिला हैं।

एडिशनल डीसीपी राम स्नेही मिश्रा ने बताया कि भाजपा नेताओं द्वारा कुछ तथ्य रखे गए हैं, जिनकी पुलिस पुष्टि कर रही है। जो भी सबूत सामने आएंगे, उसके आधार पर वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।

इस विवाद के बीच एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें पायल हाजी नाम की किन्नर को डंडे से पीटते हुए देखा जा सकता है।

आरोप है कि यह हमला भी सपना और राजा की साजिश थी। उन्होंने पायल को जानबूझकर उकसाया ताकि उसे झगड़े में फंसाया जा सके।

किन्नरों का कहना है कि उन्होंने इस वीडियो समेत कई सबूत पहले ही एसआईटी को सौंप दिए थे, लेकिन तीन महीने बीत जाने के बाद भी कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई।

संपत्ति-गद्दी की लड़ाई, पहले भी दुष्कर्म का मामला

सूत्रों के मुताबिक, किन्नर समाज में यह विवाद महज व्यक्तिगत रंजिश नहीं बल्कि गादी और संपत्ति के अधिकार से जुड़ा है। पायल और सीमा गुरु के गुटों में लंबे समय से तनातनी चल रही है।

इसी को देखते हुए पुलिस कमिश्नर संतोष सिंह ने पहले एक एसआईटी गठित की थी, जिसकी जिम्मेदारी डीसीपी ऋषिकेश मीणा को दी गई थी।

लेकिन उनके ट्रांसफर के बाद जांच आगे नहीं बढ़ पाई, जिससे समाज में असंतोष फैल गया।

इस पूरे विवाद से पहले नंदलालपुरा की एक किन्नर ने मीडिया से जुड़े दो व्यक्तियों — पंकज जैन और अक्षय कुमायू — पर दुष्कर्म और धमकी का केस दर्ज कराया था।

शिकायत में कहा गया था कि 12 जून को दोनों आरोपी डेरे पर आए और पंकज ने जबरन शारीरिक संबंध बनाए।

विरोध करने पर धमकी दी गई कि समाज को बदनाम कर देंगे और एनकाउंटर करवा देंगे।

पुलिस ने इस शिकायत पर दुष्कर्म, मारपीट और धमकी की धाराओं में एफआईआर दर्ज की थी।

फिलहाल 24 किन्नरों की हालत स्थिर बताई जा रही है। सपना गुरु हिरासत में हैं, जबकि अन्य आरोपी फरार हैं।

पुलिस का कहना है कि जल्द ही सबूतों के आधार पर ठोस कार्रवाई की जाएगी।

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