FIR Against Mahua Moitra

FIR Against Mahua Moitra

महुआ-शाह विवाद: FIR के बाद TMC सांसद का पलटवार, बोलीं- बेवकूफों के लिए नहीं होते मुहावरे

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FIR Against Mahua Moitra: तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सांसद महुआ मोइत्रा एक बार फिर विवादों में आ गई हैं।

उन पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर बंगाली भाषा में आपत्तिजनक टिप्पणी करने का आरोप लगा है।

इस मामले में अब छत्तीसगढ़ की रायपुर पुलिस ने उनके खिलाफ FIR दर्ज की है।

वहीं, FIR के बाद महुआ मोइत्रा ने एक नया वीडियो जारी कर भाजपा और पुलिस दोनों पर पलटवार किया है।

FIR दर्ज, शिकायतकर्ता कौन?

रायपुर के माना इलाके में रहने वाले गोपाल सामंतों ने महुआ मोइत्रा के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी।

उनका आरोप है कि TMC सांसद ने केंद्रीय गृह मंत्री पर अपमानजनक टिप्पणी की है।

शिकायत पर कार्रवाई करते हुए रायपुर पुलिस ने भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 196 और 197 के तहत FIR दर्ज की।

पुलिस अधिकारियों का कहना है कि यह कार्रवाई शिकायतकर्ता द्वारा दिए गए साक्ष्यों के आधार पर की गई है।

महुआ का नया वीडियो जारी

FIR दर्ज होने के बाद महुआ मोइत्रा ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो साझा किया।

उन्होंने शुरुआत में अमित शाह को सम्माननीय गृह मंत्री कहकर संबोधित किया।

कहा कि अंग्रेजी या बंगाली भाषा में कही गई बातों का शाब्दिक हिंदी अनुवाद हमेशा सही मायनों में नहीं होता।

उनका बयान एक बंगाली मुहावरा था, लेकिन उसका गलत अनुवाद कर राजनीतिक रंग दिया गया।

उन्होंने रायपुर पुलिस को टैग करते हुए लिखा कि भाजपा के आकाओं की सुनना बंद करो, वरना केवल बदनामी ही हाथ लगेगी।

महुआ मोइत्रा ने अपने वीडियो में यह भी कहा कि मुहावरे बेवकूफों के लिए नहीं होते है।

उन्होंने याद दिलाया कि संसद से निष्कासन के बाद भी वे चुनाव जीतकर लौटी थीं और इस बार भी विरोधियों को शिकस्त मिलेगी।

बंगाली मुहावरा और उसका अर्थ

महुआ मोइत्रा ने स्पष्ट किया कि उन्होंने बंगाली समाज की कहावत लज्जाय माथा काटा जावा का इस्तेमाल किया था।

इस कहावत का अर्थ है— इतनी शर्मिंदगी महसूस होना कि इंसान खुद अपना सिर काट ले।

प्रतीकात्मक रूप से इसका मतलब जिम्मेदारी लेना और असफल होने पर शर्मिंदगी झेलना होता है।

महुआ ने दावा किया कि गृह मंत्री अमित शाह अवैध बांग्लादेशी घुसपैठ रोकने में विफल रहे हैं।

उन्होंने इसी संदर्भ में यह कहावत कही थी, लेकिन उसके गलत अनुवाद से विवाद खड़ा कर दिया गया।

रायपुर पुलिस को दी चेतावनी 

TMC सांसद महुआ ने रायपुर पुलिस को भी कठघरे में खड़ा किया।

उन्होंने लिखा- भाजपा के आकाओं की सुनना बंद करें, वरना केवल बदनामी ही मिलेगी।

पिछली बार भी पुलिस ने इसी तरह का केस दर्ज किया था, जिसे हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया।

फर्जी मुकदमों से अदालतें आसानी से पर्दा हटा देती हैं और बाद में पुलिस को सिर झुकाना पड़ता है।

भाजपा और पुलिस की प्रतिक्रिया

भाजपा नेताओं ने महुआ मोइत्रा के बयान को बेहद आपत्तिजनक बताया।

छत्तीसगढ़ के वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने कहा कि इंडिया गठबंधन बौखलाहट में है, इसलिए वह ऐसे आधारहीन बयान दे रहा है।

भाजपा प्रवक्ता दीपक उज्जवल ने तो इसे और गंभीर बताते हुए कहा कि विपक्षी दल नक्सलवादियों और आतंकवादियों जैसी भाषा बोल रहे हैं।

उनके मुताबिक, इस तरह की भाषा सीधे-सीधे उग्रवाद और वामपंथी विचारधारा से मेल खाती है।

वहीं, रायपुर पुलिस ने महुआ मोइत्रा की ओर से लगाए गए आरोपों और धमकियों पर प्रतिक्रिया दी।

एएसपी लखन पटले ने कहा कि FIR पूरी तरह शिकायतकर्ता और उनके साक्ष्यों के आधार पर दर्ज की गई है।

पुलिस निष्पक्ष जांच करेगी और किसी भी तरह के राजनीतिक दबाव को स्वीकार नहीं करेगी।

बहरहाल, महुआ मोइत्रा का यह मामला अब कानूनी दायरे से निकलकर राजनीतिक बहस का मुद्दा बन चुका है।

जहां टीएमसी सांसद इसे बंगाली मुहावरे का गलत अनुवाद बता रही हैं।

वहीं भाजपा इसे गृह मंत्री और प्रधानमंत्री पर सीधा हमला मानते हुए विपक्ष की हताशा का उदाहरण बता रही है।

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