भोपाल। मध्यप्रदेश सरकार के अफसर गज़ब हैं। सबसे ज्यादा कारनामे करती हैं सोशल मीडिया टीम। पांच को पचास बनाने तक तो ठीक है, यहाँ तो टीम
ने 50 को 7900 बना दिया। गज़ब की जादूगरी। ये सारे अफसर और सोशल मीडिया वाले जादूगर से कम नहीं। दरअसल, मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने
बुधवार को 12वीं में टॉप करने वाले सिर्फ पचास छात्रों को फ्री ई-स्कूटी बांटी। मुख्यमंत्री ऑफिस के x-पोस्ट में शेयर किया है कि मुख्यमंत्री ने 7900 छात्रों
को स्कूटी बाँट दी।
हकीकत में कुशाभाऊ ठाकरे कन्वेंशन सेंटर में बुधवार को सिर्फ 50 छात्रों को फ्री ई-स्कूटी बांटी गई। बाकी 7,850 छात्रों को स्वीकृति पत्र दिए गए। इनके अभी टेंडर तक नहीं हुए हैं। टेंडर होने के बाद स्कूटी मिलेगी। सरकारी स्कूल में 12वीं की कक्षा में टॉप करने वाले छात्रों को यह स्कूटी बांटी जानी है।
स्कूल शिक्षा विभाग के अनुसार, स्कूटी खरीदने के लिए फंड जिला शिक्षा अधिकारियों (डीईओ) को भेज दिया गया है। अब डीईओ टॉपर्स छात्रों से एक फॉर्म भरवाएंगे। इसमें वे पेट्रोल या इलेक्ट्रिक स्कूटी चुन सकेंगे। इसके बाद जिला स्तर पर टेंडर प्रक्रिया होगी। जिसके बाद छात्रों को स्कूटी दी जाएगी।
अभी इसकी कोई तारीख तय नहीं है। 2022-23 में 7,778 छात्रों को स्कूटी मिली थी, जिनमें 2,760 ई-स्कूटी और 5,018 पेट्रोल स्कूटी थीं। इस योजना पर सरकार ने 40.40 करोड़ रुपए खर्च किए थे। कार्यक्रम में सीएम डॉ. मोहन यादव ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि सिर्फ मेरिट में आने से काम नहीं बनेगा, जीवन में नैतिकता और संस्कार भी होना चाहिए।
90 हजार छात्रों को अब भी लैपटॉप का इंतज़ार
मप्र के सरकारी स्कूलों में 12वीं के वे छात्र-छात्राएं, जिन्होंने 75% या उससे अधिक अंक हासिल किए हैं, ‘मुख्यमंत्री प्रोत्साहन योजना’ के तहत मुफ्त लैपटॉप के हकदार हैं। इस बार 90,000 विद्यार्थियों को लैपटॉप मिलना था, लेकिन अब तक इसकी कोई स तारीख तय नहीं हुई है।
सरकार ने इसके लिए 225 करोड़ रुपए का बजट रखा है। सत्र 2022–23 में 78,641 विद्यार्थियों को लैपटॉप मिले थे, जिस पर 196 करोड़ रुपए खर्च हुए थे। यदि अगले दो महीने में वितरण नहीं हुआ, तो सरकार को दो सत्रों के छात्रों को एक साथ लैपटॉप देने होंगे।
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