Rahul Gandhi In Lucknow Court

Rahul Gandhi In Lucknow Court

सेना पर टिप्पणी का मामला: लखनऊ कोर्ट में राहुल का सरेंडर, पिछली 5 सुनवाई के दौरान गैरहाजिर रहे कांग्रेस सांसद

Share Politics Wala News

 

Rahul Gandhi In Lucknow Court: कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने सोमवार, 15 जुलाई को लखनऊ स्थित एमपी-एमएलए कोर्ट में सरेंडर किया।

यह सरेंडर भारतीय सेना पर की गई कथित टिप्पणी के मामले में हुआ।

जिस पर बॉर्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन (BRO) के पूर्व महानिदेशक उदय शंकर श्रीवास्तव ने उनके खिलाफ केस दर्ज कराया था।

कोर्ट में सरेंडर के महज 5 मिनट बाद राहुल गांधी को जमानत मिल गई।

राहुल गांधी के कोर्ट पहुंचने से पहले ही सुरक्षा व्यवस्था सख्त कर दी गई थी।

वह अमौसी एयरपोर्ट से सीधे कोर्ट पहुंचे। उनके साथ कई कांग्रेस नेता और समर्थक भी मौजूद थे।

कोर्ट परिसर के बाहर हल्का हंगामा भी देखने को मिला।

पुलिस ने राज्यसभा सांसद प्रमोद तिवारी और कांग्रेस विधायक आराधना मिश्रा की गाड़ी को गेट पर रोक दिया था।

इस दौरान पुलिस और कांग्रेस नेताओं के बीच बहस भी हुई।

कोर्ट ने पेशी से छूट नहीं दी, होना पड़ा हाजिर

राहुल गांधी को कोर्ट ने इससे पहले कई बार समन जारी किया था, लेकिन वह हर बार पेश नहीं हुए।

उनके वकील प्रांशु अग्रवाल ने कोर्ट से पेशी से छूट देने की मांग करते हुए दलील दी कि इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका (SLP) दायर की गई है।

लेकिन वादी उदय शंकर श्रीवास्तव के वकील विवेक तिवारी ने साफ किया कि सिर्फ SLP दाखिल करने मात्र से ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता।

कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद राहुल गांधी को 15 जुलाई को व्यक्तिगत रूप से पेश होने का स्पष्ट आदेश दिया था।

कोर्ट के इस सख्त रुख के बाद राहुल गांधी को लखनऊ आकर सरेंडर करना पड़ा।

सरेंडर के तुरंत बाद उनके वकील ने जमानत याचिका लगाई, जिसे कोर्ट ने मंजूर कर लिया और राहुल को जमानत दे दी गई।

जानें पूरा मामला और राहुल पर लगे आरोप

यह पूरा मामला 16 दिसंबर 2022 को भारत जोड़ो यात्रा के दौरान राहुल गांधी द्वारा दिए गए एक बयान से जुड़ा है।

उन्होंने तब भारत-चीन सीमा पर हुई झड़प का जिक्र करते हुए कहा था कि “चीनी सैनिक भारतीय सेना के जवानों को पीट रहे हैं।”

राहुल का यह बयान 9 दिसंबर 2022 को अरुणाचल प्रदेश के तवांग सेक्टर में भारत और चीन की सेना के बीच हुई झड़प के संदर्भ में था।

उसी समय भारतीय सेना की ओर से आधिकारिक बयान जारी किया गया था कि चीनी सैनिकों ने भारतीय क्षेत्र में घुसपैठ की कोशिश की थी।

लेकिन, भारतीय सैनिकों ने उन्हें मुंहतोड़ जवाब दिया और पीछे हटने पर मजबूर कर दिया। इ

स झड़प में दोनों पक्षों के कुछ सैनिकों को हल्की चोटें भी आई थीं। BRO के पूर्व निदेशक उदय शंकर श्रीवास्तव ने इस बयान को सेना का मनोबल तोड़ने वाला और भ्रामक बताया।

उन्होंने 11 फरवरी 2024 को राहुल गांधी के खिलाफ लखनऊ के सीजेएम कोर्ट में शिकायत दर्ज कराई थी।

इसमें कहा गया था कि राहुल का यह बयान न सिर्फ असत्य है बल्कि इससे सैनिकों और उनके परिवारों की भावनाएं भी आहत हुई हैं।

हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट से भी राहत नहीं मिली

राहुल गांधी ने इस मामले में ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही को रोकने के लिए इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ में याचिका दाखिल की थी, जिसे 29 जून को खारिज कर दिया गया।

कोर्ट ने साफ कहा कि ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही कानून के अनुरूप है।

इसके बाद राहुल ने सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका (SLP) दाखिल की, लेकिन सुप्रीम कोर्ट से उन्हें कोई स्टे नहीं मिला।

ट्रायल कोर्ट ने साफ कहा कि सिर्फ SLP दाखिल होने मात्र से कार्यवाही नहीं रुकेगी और उन्हें 15 जुलाई को व्यक्तिगत रूप से पेश होने का आदेश दिया गया।

5 बार कोर्ट की तारीखों पर पेश नहीं हुए थे राहुल

राहुल गांधी इस मामले में कुल 5 बार कोर्ट की तारीखों पर हाजिर नहीं हुए। जानिए उनके गैरहाजिर रहने के कारण:

  • 24 मार्च – राजनीतिक व्यस्तता का हवाला
  • 29 अप्रैल – रायबरेली में दिशा समिति की बैठक में शामिल होने का कारण
  • 17 मई – वकील के जरिए समय की मांग
  • 4 जून – सुप्रीम कोर्ट में SLP दाखिल होने का हवाला
  • 23 जून – फिर से SLP की सुनवाई लंबित होने की बात

इन सभी तारीखों पर पेश न होने के कारण कोर्ट ने सख्ती बरती और आखिरकार 15 जुलाई की तारीख को अनिवार्य पेशी का आदेश दिया।

बहरहाल, कोर्ट ने स्पष्ट कर दिया कि कानून सभी के लिए समान है, चाहे वह सांसद ही क्यों न हो।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *